सेना के कमांडरों का इस साल का पहला सम्मेलन हाइब्रिड मोड में होगा। पहले दिन यानी 28 मार्च को वर्चुअल मोड में तो एक-दो अप्रैल को फिजिकल मोड में कार्यक्रम होगा। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह 2 अप्रैल को वरिष्ठ सैन्य कमांडरों को संबोधित करेंगे।
सम्मेलन की अध्यक्षता थल सेनाध्यक्ष (सीओएएस) जनरल मनोज पांडे करेंगे। सम्मेलन में वैचारिक मुद्दों पर विचार मंथन के साथ ही सुरक्षा के समग्र हालात की समीक्षा की जाएगी। साथ ही यह सम्मेलन भविष्य का रुख तय करने की दिशा में महत्वपूर्ण नीतिगत निर्णयों को सुगम बनाने वाली प्रमुख प्राथमिकताओं को तय करेगा।
सम्मेलन को चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान, नौसेना प्रमुख एडमिरल आर हरि कुमार और वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी भी संबोधित करेंगे। कार्यक्रम में रक्षा सचिव और रक्षा मंत्रालय के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल होंगे। एक अप्रैल को फिजिकल रूप से होने वाले कार्यक्रम में सेना का शीर्ष नेतृत्व गहन विचार-मंथन सत्रों में शामिल होगा।
इन सत्रों का उद्देश्य परिचालन प्रभावशीलता को बढ़ाना, नवाचार और अनुकूलनशीलता की संस्कृति को बढ़ावा देने के महत्व और भविष्य की चुनौतियों से निपटने की तैयारी सुनिश्चित करने के लिए प्रशिक्षण और विकास कार्यक्रमों में निवेश करना होगा।