हिंसा ने सह-अस्तित्व और विकास को बाधित किया, आशा है कि 2024 में बेहतर मणिपुर की यात्रा फिर से शुरू होगी : मुख्यमंत्री

हिंसा ने सह-अस्तित्व और विकास को बाधित किया, आशा है कि 2024 में बेहतर मणिपुर की यात्रा फिर से शुरू होगी : मुख्यमंत्री

इंफाल, 31 दिसंबर (आईएएनएस)। मणिपुर के मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह ने रविवार को कहा कि राज्य में आठ महीने तक चली जातीय हिंसा ने विभिन्न समुदायों के बीच शांतिपूर्ण सह-अस्तित्व के ताने-बाने को बाधित कर दिया है, जबकि विकास कार्य और आर्थिक गतिविधियां धीमी हो गई हैं और यह राज्य के लिए अच्छा संकेत नहीं है।

मुख्यमंत्री ने अपने नए साल के संदेश में कहा कि पिछले लगभग आठ महीनों से मणिपुर अपने इतिहास के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है, जिसमें कई कीमती जिंदगियां खो गई हैं और कई लोग अपने घरों से बेघर हो गए हैं।

उन्‍होंने कहा, “अभूतपूर्व जातीय संघर्ष ने प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से राज्य में रहने वाले सभी लोगों को प्रभावित किया है। अब समय आ गया है कि हम एक बेहतर मणिपुर की ओर अपनी यात्रा में बाधाओं और बाधाओं को दूर करने के लिए एक साथ उठें, जहां इसके सभी लोग शांति और सौहार्दपूर्ण ढंग से एक साथ रहें और एक विकसित राज्य की सुविधाओं तक पहुंच प्राप्त करें।”

मुख्यमंत्री ने कहा कि मणिपुर में हाल के वर्षों में दृश्यमान और ठोस विकास की एक महत्वपूर्ण और निरंतर प्रवृत्ति देखी जा रही है, जिसमें सभी समुदायों के लोग राज्य को विकास पथ पर ले जाने में अपना योगदान दे रहे हैं। बिजनेस 20 समिट, फेमिना मिस इंडिया ग्रैंड फिनाले, हीरो ट्राई-नेशन इंटरनेशनल फुटबॉल, डूरंड कप और अन्य कार्यक्रमों की मेजबानी ने राज्य की कानून-व्यवस्था की स्थिति में सुधार और राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय पकड़ बनाने की क्षमता क्षमता प्रदर्शित की।

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार मिशन-उन्मुख मोड के साथ यह सुनिश्चित करने के लिए अपनी नागरिक कल्याण पहल जारी रख रही है कि कोई भी व्यक्ति या स्थान उसके विकास रडार से छूट न जाए।

सिंह ने दावा किया कि सभी क्षेत्रों में सकारात्मक बदलाव देखे जा सकते हैं, चाहे वह शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क बुनियादी ढांचा, खेल और पर्यटन हो।

उन्होंने कहा, ”जैसे ही वर्ष 2023 समाप्त होगा, आइए हम अतीत के आघात को भूल जाएं और माफ करें और प्रेम और करुणा के माहौल में नए साल 2024 की शुरुआत करें।”

उन्होंने कहा, ”नए साल की शुरुआत के साथ आइए, हम संकल्प लें कि एक साथ खड़े रहें, सभी बुरे विचारों से ऊपर उठें और राज्य को प्रगति और विकास के अपने पुराने रास्ते पर वापस ले जाने के लिए दृढ़ता से काम करें।”

–आईएएनएस

एसजीके

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