बिहार में लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग में जल्द होगी 4135 पदों पर भर्ती

बिहार में लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग में जल्द होगी 4135 पदों पर भर्ती

पटना, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। बिहार में लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग में 4135 पदों पर जल्दी भर्ती की जाएगी। यह जानकारी प्रदेश के लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग के मंत्री नीरज कुमार बबलू दी।

उन्होंने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग और पंचायती राज विभाग ने ग्रामीण क्षेत्रों में 123,936 जलापूर्ति योजनाओं का निर्माण किया है। इसके अलावा, 17447055 घरों में गृह जल संयोजन प्रदान किया जा चुका है और पेयजल आपूर्ति जारी है। मंत्री ने यह भी कहा कि जलापूर्ति योजनाओं में लगभग 40 प्रत‍िशत पंप चालक महिलाएं हैं। यह महिला सशक्तिकरण के तहत बहुत महत्वपूर्ण है।

इसके अलावा मंत्री ने जीरो ऑफिस डे की पहल का भी जिक्र किया, इसके तहत सभी क्षेत्रीय अधिकारी विशेष रूप से निर्धारित दिनों पर कार्यालय में बैठने के बजाय जमीनी स्तर पर जाकर योजनाओं की वास्तविक स्थिति की जांच करते हैं। इसके साथ ही, विभाग क्षेत्रांतर्गत 10,719 टोलों (मोहल्ला) में जलापूर्ति योजनाओं के निर्माण के लिए 4,706.17 करोड़ रुपये की योजना पर कार्य प्रारंभ हो चुका है। पंचायती राज विभाग द्वारा 16,124 टोलों में जलापूर्ति योजना के निर्माण हेतु सर्वे तैयार किया गया है।

उन्होंने यह भी बताया कि शुद्ध पेयजल आपूर्ति का मानव स्वास्थ्य पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है और बिहार इकोनॉमी की रिपोर्ट के अनुसार राज्य के निवासियों के स्वास्थ्य में गुणात्मक सुधार हुआ है। पेयजल ऐप के माध्यम से सभी विभागों के पदाधिकारी योजना की क्रियाशीलता की जांच कर रियल टाइम रिपोर्टिंग कर रहे हैं, ताकि बंद पड़ी योजनाओं की त्वरित मरम्मत सुनिश्चित की जा सके। जलापूर्ति योजनाओं के रखरखाव और संरक्षण के लिए एक मार्गदर्शिका भी तैयार की गई है, जिसका विमोचन किया गया है। स्वस्थ नीर ऐप के माध्यम से आम नागरिक अपने घर बैठे शिकायतें दर्ज कर सकते हैं, और संबंधित अधिकारियों द्वारा निश्चित समय सीमा में इन शिकायतों का निवारण किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि विभाग ने 10,719 टोलों में जलापूर्ति योजनाओं के निर्माण के लिए 4706.17 करोड़ रुपये की योजना शुरू की है। पंचायती राज विभाग ने 16,124 टोलों में जलापूर्ति योजना के निर्माण के लिए सर्वे और प्राक्कलन तैयार कर लिया है। उन्होंने बताया कि शुद्ध पेयजल आपूर्ति का मानव स्वास्थ्य पर सकारात्मक प्रभाव पड़ा है। बिहार के आर्थिक सर्वे के अनुसार, 2019 के मुकाबले 2024 में पानी से संबंधित बीमारियों में 15 गुना कमी आई है।

पेयजल ऐप के माध्यम से विभागीय अधिकारियों द्वारा योजना की वास्तविकता की जांच और रियल-टाइम रिपोर्टिंग की जा रही है, ताकि बंद योजनाओं की मरम्मत त्वरित रूप से की जा सके। जलापूर्ति योजनाओं के निरीक्षण और रखरखाव के लिए मार्गदर्शिका तैयार की गई है, जिसका विमोचन जल्द किया जाएगा। साथ ही, स्वच्छ नीर ऐप के माध्यम से आम नागरिक अपनी शिकायतें दर्ज कर सकते हैं, जिनका निवारण निश्चित समय सीमा में किया जाएगा।

मुख्यमंत्री के सपने को पूरा करने के लिए हर घर को शुद्ध नल का जल पहुंचाने के उद्देश्य से विभाग ने नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू की है और ऐप का लॉन्च किया गया है। मंत्री ने यह भी बताया कि शनिवार को सभी अधिकारी अपने कार्यालयों में न बैठकर, जमीनी स्तर पर योजनाओं की जांच करेंगे। इसके परिणामस्वरूप, अधिकतम योजनाएं दुरुस्त हो गई हैं, और अब तक 85 प्रति‍शत योजनाएं चल रही हैं। 15 प्रत‍िश्‍त में समस्याएं थीं, जिनको भी ठीक किया जा रहा है।

उन्होंने यह भी कहा कि पंचायती राज विभाग से जो योजनाएं हमें हैंडओवर हुई हैं, उनमें 30 प्रत‍िशत गड़बड़ियां पाई गई थीं, जो अब 15 प्रत‍िशत पर आ गई हैं। इनको भी जल्द दुरुस्त कर लिया जाएगा। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि कुछ योजनाएं विद्युत आपूर्ति में समस्याओं के कारण अस्थायी रूप से बंद रहती हैं, लेकिन विभाग समय सारणी के अनुसार जलापूर्ति सुनिश्चित करेगा। गर्मी के दिनों में पानी की आवश्यकता अधिक होने पर समय बढ़ाया जाएगा, और विभाग छह घंटे पानी देने की गारंटी देता है। मासिक शुल्क अभी स्वैच्छिक है, और इसे सुविधा बढ़ने के साथ लागू किया जाएगा।

–आईएएनएस

पीएसएम/सीबीटी

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