ज्योति मल्होत्रा के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो, पाक के प्रति कांग्रेस का रुख नरम : संजय निरुपम


मुंबई, 23 मई (आईएएनएस)। शिवसेना प्रवक्ता संजय निरुपम ने शुक्रवार को कई मुद्दों पर अपनी बेबाक राय रखते हुए कई गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा की गिरफ्तारी, कांग्रेस सांसद राहुल गांधी पर लगे आरोपों और पाकिस्तान में इंडिगो एयरलाइंस की इमरजेंसी लैंडिंग को अनुमति न देने के मसले पर भी राय रखी।

संजय निरुपम ने यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा की गिरफ्तारी को लेकर कहा कि यह कोई सामान्य मामला नहीं है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने ज्योति मल्होत्रा को गिरफ्तार किया है। उसके संबंध भारत में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों से थे। उसने उनमें से एक से विवाह भी किया था। यूट्यूबर के नाम पर यह महिला संवेदनशील भारतीय जानकारी पाकिस्तान भेज रही थी, जो सीधा-सीधा देशद्रोह है। वह देशद्रोही है। उन्होंने जोर देकर कहा कि ऐसे मामलों में कठोर कार्रवाई होनी चाहिए ताकि भविष्य में कोई भी भारत माता के साथ विश्वासघात करने की हिम्मत न कर सके। देश की सुरक्षा सर्वोपरि है।

भाजपा सांसद निशिकांत दुबे द्वारा राहुल गांधी पर लगाए गए आरोपों पर संजय निरुपम ने कांग्रेस की नीतियों पर जुबानी हमला किया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस हमेशा से पाकिस्तान को लेकर नरम रवैया अपनाती रही है। पिछले 70-75 वर्षों से पाकिस्तान भारत विरोधी गतिविधियां करता रहा, लेकिन कांग्रेस सरकारों ने कभी भी उसे करारा जवाब नहीं दिया। यह उनकी विफल और आत्मसमर्पणकारी नीति का परिणाम है। निरुपम ने कांग्रेस पर आरोप लगाया कि पार्टी को यह डर रहता है कि भारत के मुसलमान पाकिस्तान से सहानुभूति रखते हैं, इसलिए वह कठोर रुख नहीं अपना पाती। उन्होंने कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद कांग्रेस नेताओं द्वारा सैन्य कार्रवाई पर सवाल उठाना बहुत ही दुखद है और इससे पाकिस्तान को बल मिलता है।

इंडिगो एयरलाइंस की फ्लाइट को पाकिस्तान में इमरजेंसी लैंडिंग की अनुमति न दिए जाने पर संजय निरुपम ने पाकिस्तान के रवैये को अमानवीय बताया। विमान श्रीनगर के ऊपर उड़ान भर रहा था जब उस पर बिजली गिरने के कारण गड़बड़ी हुई और वह किसी भी समय क्रैश हो सकता था। 224 यात्रियों की जान दांव पर थी, लेकिन पाकिस्तान ने मानवीयता को ताक पर रखकर लैंडिंग की अनुमति देने से इनकार कर दिया। इससे पाकिस्तान का असली चेहरा एक बार फिर सामने आया है। उन्होंने कहा कि भारत में जो लोग अब भी पाकिस्तान के प्रति सहानुभूति रखते हैं और ‘अमन की आशा’ की बातें करते हैं, उन्हें अब इस सच्चाई को पहचानना चाहिए।

–आईएएनएस

पीएसके/एकेजे


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