हनोई में गुयेन फु ट्रोंग के अंतिम संस्कार में शामिल हुए एनएसए डोभाल

हनोई में गुयेन फु ट्रोंग के अंतिम संस्कार में शामिल हुए एनएसए डोभाल

हनोई, 25 जुलाई (आईएएनएस)। राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल वियतनाम की राजधानी हनोई में कम्युनिस्ट पार्टी के महासचिव गुयेन फु ट्रोंग के अंतिम संस्कार में शामिल हुए। गुयेन फू ट्रोंग का 19 जुलाई को हनोई में निधन हो गया था।

एनएसए डोभाल ने वियतनाम के राष्ट्रपति टो लाम और प्रधानमंत्री फाम मिन्ह चीन्ह तथा शोक संतप्त परिवार को व्यक्तिगत रूप से भारत की ओर से अपनी संवेदनाएं व्‍यक्‍त की।

बुधवार को अपनी बैठक के दौरान, वियतनाम के प्रधानमंत्री फाम मिन्ह चीन्ह ने भारत सरकार और भारत के लोगों के प्रति अपनी कृतज्ञता व्यक्त की थी। साथ ही उन्होंने 22 जुलाई को महासचिव की स्मृति में समय निकालने के लिए भारतीय संसद को भी धन्यवाद दिया।

एनएसए डोभाल के साथ बैठक के बाद वियतनाम के पीएम कार्यालय ने एक बयान जारी कर कहा कि यह करीबी दोस्तों के स्नेह के साथ-साथ वियतनाम और भारत के लोगों के बीच की अनमोल परंपरा को दिखाता है।

बयान में कहा गया, ”प्रधानमंत्री फाम मिन्ह चीन्ह ने सुझाव दिया कि दोनों देश वियतनाम-भारत व्यापक रणनीतिक साझेदारी को और विकसित करने के लिए समन्वय जारी रखें। साथ ही इस बात पर जोर दिया कि विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, सूचना एवं दूरसंचार, तथा डिजिटल प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में सहयोग बहुत संभावित क्षेत्र हैं जिन पर और अधिक ध्यान देने तथा बढ़ावा देने की आवश्यकता है।”

दिवंगत महासचिव गुयेन फू ट्रोंग के वियतनाम-भारत संबंधों को मजबूत करने में महत्वपूर्ण योगदान को सराहते हुए एनएसए डोभाल ने इस बात पर जोर दिया कि वह एक विद्वान नेता थे और भारत के लोग उनका सम्मान करते थे।

उन्होंने यह भी कहा कि भारत सरकार वियतनाम और भारत के बीच व्यापक रणनीतिक साझेदारी को महत्व देती है साथ ही वह विशेष रूप से रक्षा, व्यापार और निवेश जैसे पारंपरिक क्षेत्रों में द्विपक्षीय संबंधों को और अधिक गहरा करना चाहती है, इसके साथ ही हनोई द्वारा प्रस्तावित नए क्षेत्रों में सहयोग का विस्तार करना चाहती है।

2016 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हनोई यात्रा के दौरान व्यापक रणनीतिक साझेदारी की स्थापना के बाद से भारत-वियतनाम संबंध आगे बढ़ रहे हैं।

प्रधानमंत्री मोदी ने भारत की ‘एक्ट ईस्ट’ नीति और हिंद-प्रशांत दृष्टिकोण के एक महत्वपूर्ण स्तंभ के रूप में वियतनाम के महत्व को बनाए रखा है, साथ ही मौजूदा पहलों पर तेजी से प्रगति के लिए काम करने के अलावा रक्षा साझेदारी सहित द्विपक्षीय संबंधों के दायरे को बढ़ाया है।

पिछले कुछ वर्षों में दिवंगत वियतनामी नेता के साथ अपने संवादों में प्रधानमंत्री मोदी ने दोनों देशों के बीच ऐतिहासिक संबंधों तथा वियतनाम में चाम स्मारकों के जीर्णोद्धार में भारत की भागीदारी पर प्रकाश डाला।

प्रधानमंत्री मोदी ने 19 जुलाई को एक्स पर लिखा था, ”वियतनाम के नेता गुयेन फू ट्रोंग के निधन की खबर से दुखी हूं। हम दिवंगत नेता को श्रद्धांजलि देते हैं। हम अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करते हैं और दुख की इस घड़ी में वियतनाम के लोगों और नेतृत्व के साथ एकजुटता से खड़े हैं।”

–आईएएनएस

एमकेएस/एसकेपी

E-Magazine