कांग्रेस : पिछड़ा वर्ग सलाहकार परिषद की बैठक आयोजित, शामिल हुए कई नेता, खुलकर रखी अपनी बात

बेंगलुरु, 16 जुलाई (आईएएनएस)। कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरु में दो दिवसीय अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की पिछड़ा वर्ग सलाहकार परिषद की बैठक आयोजित की गई। इस बैठक में कांग्रेस के कई दिग्गज नेता शामिल हुए। बैठक संपन्न होने के बाद इन्हीं नेताओं ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत में अपने अनुभव साझा किए और बैठक में उठाए गए मुद्दों के बारे में बताया।
छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राहुल गांधी का जिक्र करते हुए कहा कि वो लगातार जातिगत जनगणना और संविधान बचाने की बात कह रहे हैं। इस बात को खारिज नहीं किया जा सकता है कि देश की सारी संपत्ति चंद लोगों के हाथों में जा रही है और बाकी के लोगों के हाथ खाली पड़े हैं। अगर हम इस विषमता को खत्म करना चाहते हैं, तो इसके लिए जातिगत जनगणना करानी होगी। इसी को देखते हुए राहुल गांधी लगातार इसकी मांग उठा रहे थे। लेकिन, भाजपा उनका उपहास उड़ा रही थी। अंत में सरकार को जातिगत जनगणना के लिए मानना पड़ा। इस बात को नहीं नकारा जा सकता है कि जातिगत जनगणना का लाभ ओबीसी वर्ग के लोगों को भी मिलेगा। इसी को देखते हुए राहुल गांधी यह मुद्दा उठा रहे थे।
उन्होंने कहा कि आज की बैठक में एक प्रस्ताव पारित किया गया है, जिसके तहत यह फैसला गया है कि आगामी 25 जुलाई को दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में एक कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। इसमें कई मुद्दों को उठाया जाएगा। साथ ही, इसमें शिक्षा, रोजगार और सत्ता में भागीदारी के लिए यह प्रस्ताव पारित कराया गया है। इस दिशा में सिद्धारमैया ने अच्छा आयोजन किया है, जिनके लिए उन्हें बहुत-बहुत धन्यवाद।
सलाहकार परिषद के सदस्य बीके हरिप्रसाद ने आंध्र प्रदेश के शिक्षा और आईटी मंत्री नारा लोकेश के तंज का भी जवाब दिया और कहा कि ऐसी कोई संभावना पैदा ही नहीं होती है, क्योंकि एयरस्पेस के पूरे देश का 64 फीसद उत्पादन बेंगलुरु में होता है। बाहर जाने का कोई सवाल पैदा ही नहीं होता है। एयरोस्पेस पार्क स्थापित करने के लिए जो भी जगह चाहिए, वो हम देंगे।
दरअसल, बेंगलुरु में नया एयरोस्पेस पार्क स्थापित करने का प्रस्ताव रद्द हो गया है। कर्नाटक सरकार ने 15 जुलाई को देवनहल्ली में 1,777 एकड़ उपजाऊ कृषि भूमि के अधिग्रहण को वापस लिया, क्योंकि किसानों ने इसका विरोध किया। बेंगलुरु पहले से भारत का एयरोस्पेस हब है, जहां एचएएल, इसरो, और बोइंग जैसी कंपनियां हैं। मौजूदा 950 एकड़ का पार्क अभी कार्यरत है।
इसी पर तंज कसते हुए आंध्र प्रदेश सरकार में मंत्री लोकेश नारा ने अपने सोशल मीडिया एक्स हैंडल पर पोस्ट करके कहा था कि प्रिय एयरोस्पेस उद्योग, यह सुनकर दुख हुआ। मेरे पास आपके लिए एक बेहतर विचार है। आप आंध्र प्रदेश पर विचार क्यों नहीं करते? हमारे पास आपके लिए एक आकर्षक एयरोस्पेस नीति है, जिसमें सर्वोत्तम प्रोत्साहन और 8,000 एकड़ से ज़्यादा तैयार ज़मीन (बेंगलुरु के ठीक बाहर) है! उम्मीद है कि जल्द ही आपसे बातचीत के लिए मुलाक़ात होगी।
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के पिछड़ा वर्ग विभाग के राष्ट्रीय अध्यक्ष अनिल जयहिंद ने कहा कि राहुल गांधी को अन्याय बर्दाश्त नहीं है। समाज का कोई भी वर्ग हो। राहुल गांधी अन्याय किसी के साथ भी बर्दाश्त नहीं कर सकते हैं, इसलिए हम उन्हें ‘न्याय योद्धा’ कहते हैं।
साथ ही, उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी शक्ति की राजनीति नहीं करती है। जब 1885 में इस पार्टी का गठन हुआ था, तब इसने कभी नहीं सोचा था कि इसके पास शक्ति आएगी। लेकिन, इस पार्टी को सींचने के लिए हजारों नेता कुर्बान हो गए। कांग्रेस पार्टी राष्ट्र निर्माण में लगी हुई है। अगर 90 फीसद लोग विकास से वंचित रहेंगे, तो इस देश का विकास नहीं हो पाएगा। राहुल गांधी का सपना है कि समाज का हर वर्ग राष्ट्र के विकास में अपना योगदान दे। आज भी कई क्षेत्रों में ओबीसी समुदाय के लोग नहीं दिखेंगे। उनका प्रतिनिधित्व शून्य है।
उन्होंने कहा कि जब आजादी की लड़ाई लड़नी थी, तो सबकुछ कांग्रेस ने किया। आजादी के बाद नेहरू जी ने देश के बुनियादी ढांचे को मजबूत किया। उन्होंने इस देश में बड़े-बड़े संस्थान खड़े किए। इसके बाद शास्त्री जी आए, तो उन्होंने हरित क्रांति की शुरुआत की। राजीव गांधी ने कंप्यूटर क्रांति की शुरुआत की। बाबा साहेब आंबडेकर ने कहा था कि हमें राजनीतिक आजादी मिल चुकी है, लेकिन हमें अभी आर्थिक आजादी प्राप्त करना होगा। हमें यह कहने में कोई गुरेज नहीं है कि राहुल गांधी लोगों को आर्थिक आजादी दिलाने की दिशा में काम कर रहे हैं। यह एक तरह से आजादी की दूसरी लड़ाई है।
पुडुचेरी के पूर्व सीएम नारायणस्वामी ने दावा किया कि केंद्र सरकार ने आगामी बिहार विधानसभा चुनाव में राजनीतिक लाभ अर्जित करने के मकसद से जातिगत जनगणना पर विचार किया। लेकिन, जब इन्हें एहसास हुआ कि कांग्रेस पार्टी इसे आगे बढ़ाने की दिशा में कदम बढ़ा रही है, तो यह लोग इस बात को स्वीकार नहीं कर पाए। यह कोई चुनावी मुद्दा नहीं है। राहुल गांधी पिछले तीन सालों से जातिगत जनगणना का मुद्दा उठा रहे थे। तब भाजपा कहा करती थी कि राहुल जाति के नाम पर देश को बांटने की कोशिश कर रहे हैं, जिसे किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जा सकता है। लेकिन, अब जब बिहार विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे है, तो केंद्र सरकार ने जातिगत जनगणना का ऐलान कर दिया है। कांग्रेस पार्टी कभी राजनीति नहीं करना चाहती है, हमारा एकमात्र उद्देश्य है कि समाज के सभी लोगों के बीच आर्थिक और सामाजिक समानता स्थापित हो।
–आईएएनएस
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