देश में जनवरी-मार्च अवधि में रिटेल सेक्टर में लीजिंग गतिविधियां 55 प्रतिशत बढ़ी

नई दिल्ली, 8 अप्रैल (आईएएनएस)। भारत में रिटेल सेक्टर की लीजिंग गतिविधियों में मार्च तिमाही में बड़ा उछाल देखने को मिला है और यह देश के शीर्ष आठ शहरों में जनवरी-मार्च अवधि में बढ़कर 2.4 मिलियन स्क्वायर फीट (एमएसएफ) पर पहुंच गई है। यह जानकारी मंगलवार को जारी हुई रिपोर्ट में दी गई।
कुशमैन एंड वेकफील्ड की रिपोर्ट में कहा गया है कि उभरते स्थानों में नई आपूर्ति शुरू होने के कारण मॉल और मेनस्ट्रीट दोनों ने इस वृद्धि में योगदान दिया।
रिपोर्ट में बताया गया कि लीजिंग वॉल्यूम के मामले में हैदराबाद सबसे आगे रहा, जिसने कुल लीजिंग गतिविधि में 34 प्रतिशत (0.8 एमएसएफ) का योगदान दिया और इसमें सालाना आधार पर 106 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि दर्ज की गई।
रिपोर्ट में कहा गया कि लीजिंग वॉल्यूम में मुंबई 24 प्रतिशत (0.58 एमएसएफ) की हिस्सेदारी के साथ दूसरे स्थान पर था और देश की आर्थिक राजधानी में लीजिंग गतिविधियों में सालाना आधार पर 259 प्रतिशत का इजाफा देखने को मिला।
दिल्ली-एनसीआर में लीजिंग वॉल्यूम में बढ़त देखी गई है और कुल लीजिंग गतिविधियों में करीब 17 प्रतिशत (0.41 एमएसएफ) का योगदान दिया।
जनवरी से मार्च की अवधि में, दिल्ली-एनसीआर में लीजिंग गतिविधियों में सालाना आधार पर 57 प्रतिशत का इजाफा देखने को मिला।
बेंगलुरु और चेन्नई के बाजारों में लीजिंग गतिविधियों में स्थिरता देखी गई है। 2025 की मार्च तिमाही में लीजिंग वॉल्यूम क्रमश: 0.19 एमएसएफ और 0.17 एमएसएफ रहा है।
कुशमैन एंड वेकफील्ड के प्रबंध निदेशक सौरभ शतदल ने कहा, “भारत का रिटेल सेक्टर तेज गति से विकसित हो रहा है और 2025 की पहली तिमाही में मजबूत लीजिंग गतिविधि बढ़ते बाजार विश्वास को दर्शाती है।”
उन्होंने आगे कहा, “अगली तीन तिमाहियों में लगभग 7 मिलियन वर्ग फीट नई आपूर्ति की आने की उम्मीद है, जिसमें बड़े पैमाने पर प्रीमियम ग्रेड ए मॉल शामिल होंगे और हम उम्मीद करते हैं कि यह सकारात्मक गति साल भर जारी रहेगी।”
रिपोर्ट में बताया गया कि कुल लीजिंग ट्रांजैक्शन वॉल्यूम में घरेलू ब्रांड्स की हिस्सेदारी 92 प्रतिशत है, जबकि विदेशी ब्रांड्स की हिस्सेदारी केवल 8 प्रतिशत के करीब है।
रिपोर्ट के अनुसार, आने वाले समय में मॉल लीजिंग गतिविधि में और तेजी आने की उम्मीद है, 2025 के अंत तक शीर्ष 8 शहरों में लगभग 6.4 एमएसएफ नई मॉल आपूर्ति की उम्मीद है, जिनमें से 58 प्रतिशत ग्रेड ए प्लस होंगी।
–आईएएनएस
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