इस वर्ष अप्रैल-जून में भारत में वेंचर कैपिटल निवेश 355 सौदों के जरिए 3.5 अरब डॉलर तक पहुंचा


नई दिल्ली, 22 जुलाई (आईएएनएस) । भारत में वेंचर कैपिटल (वीसी) निवेश 2025 की दूसरी तिमाही में 355 सौदों के जरिए 3.5 अरब डॉलर तक पहुंच गया, जबकि पिछली तिमाही में यह 456 सौदों के जरिए 2.8 अरब डॉलर था। यह जानकारी मंगलवार को आई एक रिपोर्ट में दी गई।

केपीएमजी ने अपनी लेटेस्ट ‘वेंचर पल्स 2025 की दूसरी तिमाही’ रिपोर्ट में कहा है कि इस दौरान, देश में निवेश के लिए फिनटेक सबसे लोकप्रिय क्षेत्रों में से एक बना रहा।

केपीएमजी इन इंडिया के नितीश पोद्दार ने कहा, “भारत के वेंचर कैपिटल परिदृश्य ने 2025 की दूसरी तिमाही में मजबूती का प्रदर्शन किया और वैश्विक अनिश्चितताओं के बावजूद फंडिंग में वृद्धि हुई। फिनटेक, हेल्थ-टेक और लॉजिस्टिक्स जैसे प्रमुख क्षेत्रों ने निवेशकों की गहरी रुचि दिखाई, जो भारत की इनोवेशन क्षमता में विश्वास को दर्शाता है।”

पोद्दार ने कहा कि तिमाही का प्रदर्शन क्षेत्र के स्टार्टअप इकोसिस्टम को आकार देने में देश की बढ़ती भूमिका को रेखांकित करता है।

इस बीच, वैश्विक उद्यम पूंजी निवेश 2025 की पहली तिमाही के 128.4 अरब डॉलर से घटकर इस तिमाही में 101.05 अरब डॉलर रह गया।

हालांकि, रिपोर्ट में कहा गया है कि गिरावट के बावजूद, दूसरी तिमाही भू-राजनीतिक संघर्षों, व्यापार तनावों और व्यापक आर्थिक अनिश्चितता के बावजूद अपेक्षाकृत मजबूत रही।

वीसी निवेशकों का ध्यान मुख्यतः बड़े पैमाने के अवसरों पर रहा।

रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिका एआई में वैश्विक वीसी निवेश में अग्रणी है और इस क्षेत्र में 1 अरब डॉलर से अधिक के सौदे आकर्षित कर रहा है।

रिपोर्ट में बताया गया है कि अमेरिका ने 2025 की दूसरी तिमाही के दौरान वैश्विक वीसी निवेश का लगभग 70 प्रतिशत आकर्षित किया। एआई, डिफेंस टेक और स्पेस टेक सेक्टर में पांच सबसे बड़े सौदे हुए।

डिफेंस-टेक-केंद्रित एआई कंपनियों ने दुनिया के अन्य हिस्सों में भी धन जुटाया।

रिपोर्ट में कहा गया है कि वर्ष की दूसरी तिमाही के दौरान डिफेंस टेक और एआई वीसी निवेश के सबसे लोकप्रिय क्षेत्र थे, लेकिन फिनटेक में भी वैश्विक वीसी निवेशकों की रुचि में एक नई लहर देखी गई।

केपीएमजी की रिपोर्ट में कहा गया है कि यूरोप में वीसी निवेश 2025 की दूसरी तिमाही में लगभग 14.6 अरब डॉलर पर स्थिर रहा, जो 2025 की पहली तिमाही के 16.3 अरब डॉलर से थोड़ा ही कम है, हालांकि सौदों की संख्या 2,358 से घटकर 1,733 रह गई।

साथ ही, एशिया में वेंचर कैपिटल निवेश बहुत कमजोर रहा, हालांरि कुल निवेश 2025 की पहली तिमाही के 12.6 अरब डॉलर से बढ़कर 12.8 अरब डॉलर हो गया, जो एक दशक से भी ज्यादा समय में दूसरा सबसे निचला स्तर है।

रिपोर्ट में कहा गया है कि एशिया में सौदों की संख्या 2025 की पहली तिमाही के 2,663 से घटकर 2025 की दूसरी तिमाही में केवल 2,022 रह गई।

-आईएएनएस

एसकेटी/


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