बजट में एमएसएमई पर ध्यान देना, स्वागत योग्य कदम : वित्तीय सेवा कंपनी प्रोगकैप की को फाउंडर पल्लवी श्रीवास्तव

बजट में एमएसएमई पर ध्यान देना, स्वागत योग्य कदम : वित्तीय सेवा कंपनी प्रोगकैप की को फाउंडर पल्लवी श्रीवास्तव

नई दिल्ली, 1 फरवरी (आईएएनएस)। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल में अपना दूसरा पूर्ण बजट पेश किया। इस बार कुल बजट 50.65 लाख करोड़ रुपये का है। इस बजट में, नौकरीपेशा व्यक्तियों के लिए 12.75 लाख तक की आय पर कोई टैक्स नहीं लगाया गया, जिससे मध्यम वर्ग को बड़ी राहत मिली है। साथ ही बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इलेक्ट्रिक कार, मोबाइल फोन और एलईडी की कीमतें कम करने के उपाय किए हैं और कैंसर व कुछ अन्य आवश्यक दवाओं की कीमतों में कमी की घोषणा भी की है। वित्तीय सेवा कंपनी प्रोगकैप की को फाउंडर पल्लवी श्रीवास्तव ने बजट की खुलकर तारीफ की है।

पल्लवी ने कहा, “हम लेंडिंग कम्युनिटी का प्रतिनिधित्व करते हैं और एमएसएमई को फंडिंग प्रदान करते हैं। मुझे लगता है कि एमएसएमई पर बहुत अधिक ध्यान दिया गया है, जो एक स्वागत योग्य कदम है। जो बात विशेष रूप से उत्साहजनक है, वह यह है कि एमएसएमई की चुनौतियां सभी को ज्ञात हैं। जैसे कि क्रेडिट की पहुंच एक मुद्दा है, टेक्नोलॉजी का अभाव है, और इस सेगमेंट में डिजिटाइजेशन सीमित है। इसलिए, यह देखना बहुत उत्साहजनक था कि कैसे प्रायोरिटी सेक्टर लेंडिंग का वर्गीकरण बढ़कर, टर्नओवर पर 2.5 गुना आवश्यकता और निवेश पर 2 गुना आवश्यकता के साथ, बहुत सारे एमएसएमई को प्रायोरिटी सेक्टर लेंडिंग के लिए पात्र बनाता है। इससे बहुत सारे अवसर खुलते हैं।”

उन्होंने आगे कहा, “दूसरी उत्साहजनक बात यह है, जो हमारे लिए बहुत अच्छा लागू होता है, वह है कि एमएसएमई जो माइक्रो एंटरप्राइजेज हैं, उन्हें 5 लाख तक का कस्टमाइज्ड क्रेडिट कार्ड देने का प्रावधान। यह एमएसएमई को क्रेडिट का उपयोग करने और अपना व्यवसाय बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करने की दिशा में एक बहुत बड़ा कदम है। इसलिए मुझे लगता है कि यह एक लाभदायक कदम है।”

उन्होंने कहा, “मुझे लगता है कि इस बजट में, क्रेडिट गारंटी कवर में वृद्धि आदि के साथ, यह जोर दिखाया गया है। मुझे लगता है कि विवरण में ही वास्तविकता होती है, और लेंडिंग कम्युनिटी में होने के नाते, हमें देखना होगा कि बैंक, एनबीएफसी, फिनटेक्स कैसे एक साथ आकर इसका लाभ उठा सकते हैं। माइक्रो एंटरप्राइजेज तक क्रेडिट की पहुंच सुविधाजनक बना सकते हैं, ताकि हम निर्यात बढ़ाने, नौकरियां बढ़ाने, और अर्थव्यवस्था को उस दिशा में आगे बढ़ाने में सक्षम हो सकें।”

–आईएएनएस

पीएसएम/सीबीटी

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