छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद अंत के कगार पर: सीएम साई

रायपुर, 12 दिसंबर (आईएएनएस)। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साई ने अपने दो वर्ष पूरे होने पर दावा किया कि राज्य में नक्सलवाद “अंत के कगार पर” है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि सुरक्षा बलों ने अब तक 505 माओवादियों का सफाया किया है, 2,386 ने आत्मसमर्पण किया है और 1,901 की गिरफ्तारी हुई है। प्रभावित क्षेत्रों में 69 सुरक्षा कैंप स्थापित किए गए हैं, जबकि नियाडा नेल्ला नर योजना ने माओवादियों को मुख्यधारा में लौटने के लिए प्रोत्साहित किया है।
सीएम साई ने कहा कि पिछले दो वर्षों में माओवादी चुनौती पर सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धियों में से एक है। हिंसा के कारण बंद पड़े 50 स्कूल और कई अस्पताल फिर से खोले गए हैं। 403 गांवों में सड़क, स्वास्थ्य केंद्र, मोबाइल टावर और राशन दुकानों जैसी बुनियादी सुविधाएं बहाल की गई हैं।
आत्मसमर्पित माओवादियों के पुनर्वास के लिए सरकार ने तीन वर्षों तक 10,000 रुपए की मासिक सहायता देने की योजना भी शुरू की है।
उन्होंने अपने दो वर्ष पूरे होने पर थीम “निरंतर सेवा, निरंतर विकास” रखते हुए कहा कि उनकी सरकार ने आवास, कृषि, सुरक्षा व महिला सशक्तीकरण जैसे क्षेत्रों में ऐतिहासिक प्रगति दर्ज की है और पिछली कांग्रेस सरकार से छूटे वादों को पूरा किया है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि उनकी पहली कैबिनेट में 18 लाख मकानों की मंजूरी दी गई थी, जिनमें से बड़ी संख्या में घर बनकर तैयार हो चुके हैं। किसानों से वादा किए अनुसार, सरकार ने धान का 3,100 रुपए प्रति क्विंटल मूल्य दिया और भुगतान एक सप्ताह में पूरा किया।
उन्होंने बताया कि सरकार ने कार्यभार संभालते ही 9,700 करोड़ रुपए के लंबित बोनस 13 लाख किसानों को दिए और दो वर्षों से अटके बोनस का भी निपटारा कर दिया।
महिला सशक्तीकरण पर बात करते हुए साई ने कहा कि महातरी वंदन योजना की 22 किश्तों में 14,000 करोड़ रुपए सीधे महिलाओं के खातों में भेजे गए हैं। इसके अलावा, चरन पदुका योजना को पुनः शुरू किया गया, 7.3 मिलियन गरीब परिवारों को मुफ्त राशन मिल रहा है और भूमिहीन किसानों को 10,000 रुपए की सहायता दी जा रही है।
सरकार ने श्री राम लल्ला दर्शन योजना भी शुरू की है, जिसके तहत 37,000 से अधिक श्रद्धालुओं को अयोध्या और काशी विश्वनाथ मंदिर के दर्शन मुफ्त में कराए गए हैं।
औद्योगिक क्षेत्र में, मुख्यमंत्री ने बताया कि नई नीति के तहत 8 लाख करोड़ रुपए के निवेश प्रस्ताव मिले हैं, जिनमें नवा रायपुर में पहला सेमीकंडक्टर प्लांट शामिल है।
रेलवे विकास में 47,500 करोड़ का निवेश हुआ है, 2014 से अब तक ट्रैक क्षमता दोगुनी हुई है और रायपुर में कार्गो सेवा शुरू की गई है। साथ ही, इंद्रावती और महानदी नदियों को पाइपलाइन से जोड़ने पर विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार की जा रही है।
–आईएएनएस
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