अमेरिका की वीजा नीति में बड़ा बदलाव, जानें प्रकार और कैसे करें आवेदन

नई दिल्ली, 8 नवंबर (आईएएनएस)। अमेरिकी सरकार ने हाल ही में एच1बी वीजा को लेकर किए बदलाव के साथ हड़कंप मचा दिया था। इसी कड़ी में अमेरिकी सरकार ने वीजा के नियमों में बड़े बदलाव का आदेश दिया है।
अमेरिकी सरकार ने उड्डयन विभाग को आदेश दिया है कि वीजा के आवेदकों के मेडिकल पर खास ध्यान दिया जाए। अगर कोई शख्स हृदय रोग, डायबिटीज या कैंसर जैसे अन्य रोगों से ग्रसित है, तो उसके लिए अमेरिकी वीजा लेना मुश्किल होगा।
ऐसे में आइए जानते हैं कि अमेरिका में कितने प्रकार के वीजा हैं और कैसे आपको मिल सकते हैं।
अमेरिका आने वाले लोगों के लिए दो कैटेगरी में अलग-अलग प्रकार के वीजा हैं। एक कैटेगरी गैर-अप्रवासी वीजा और दूसरी अप्रवासी वीजा है। अप्रवासी वीजा को अस्थायी वीजा भी कह सकते हैं। अप्रवासी वीजा के अंतर्गत बी1 या बी2, एफ1, एम1, जे1, डी, ए, आई, एच-1बी, एच2ए या एच2बी, एल1, ओ और पी वीजा समेत तमाम कैटेगरी हैं। इनमें मीडिया और जर्नलिस्ट, मेडिकल ट्रीटमेंट, और डिप्लोमेट जैसी तमाम अलग कैटेगरी के लिए अलग वीजा होता है।
इसका मतलब है कि डिप्लोमेट या दूसरे देश के अधिकारियों के लिए ए वीजा है, मीडिया और पत्रकारों के लिए आई वीजा, बिजनेस विजिटर के लिए बी-1, और एथलीट वगैरह के लिए बी-1 वीजा होता है।
अप्रवासी वीजा में अमेरिकी नागरिक के पति या पत्नी, मंगेतर, दूसरे देश के अनाथ आश्रम से अडॉप्ट किए गए बच्चे, काम की वजह से अमेरिका में रहने वाले लोग, धार्मिक काम वाले लोग, ट्रांसलेटर और लंबे समय तक रहकर वापस लौटने के उद्देश्य से आए लोग शामिल होते हैं।
अप्रवासी वीजा खासतौर से काम के सिलसिले में आने वाले लोगों को मिलता है। इन्हें आगे चलकर अमेरिकी सरकार का ग्रीन कार्ड भी मिल सकता है। इसका मतलब होता है कि आप वहां स्थायी रूप से रह सकते हैं।
अमेरिकी वीजा हासिल करने के लिए सबसे पहले आपको डीएस-160 फॉर्म भरना होगा। इसके लिए आपको अमेरिकी दूतावास की आधिकारिक वेबसाइट पर जाना होगा। वेबसाइट पर डीएस-160 फॉर्म भरें और फिर वीजा शुल्क का भुगतान करें। इसके बाद आपको वीजा के इंटरव्यू के लिए तारीख और समय तय करना होगा। तय समय में आपको अमेरिकी दूतावास या वाणिज्य दूतावास पहुंचना होगा। इसके साथ ही आपको जरूरी दस्तावेज भी अपने साथ लेकर जाने होंगे।
–आईएएनएस
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