मंत्री विक्रमादित्य सिंह की अध्यक्षता में आयोजित की गई भीमा काली मंदिर न्यास समिति की बैठक

मंत्री विक्रमादित्य सिंह की अध्यक्षता में आयोजित की गई भीमा काली मंदिर न्यास समिति की बैठक

रामपुर, 10 अक्टूबर (आईएएनएस)। भीमा काली मंदिर न्यास की बैठक गुरुवार को रामपुर सर्किट हाउस में आयोजित की गई। इसकी अध्यक्षता हिमाचल प्रदेश के लोक निर्माण और शहरी विकास मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने की।

इस दौरान मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि मंदिर की वेबसाइट को अपडेट रखा जाए तथा इसमें न्यास की हर गतिविधि के बारे में जानकारी समय-समय पर मिलती रहे। न्यास के कई प्रस्तावों को स्वीकृति दी गई है। न्यास एक अत्याधुनिक एंबुलेंस की सुविधा भी शुरू करेगी। बैठक में एंबुलेंस खरीदने की अनुमति भी प्रदान की गई।

उन्होंने कहा कि बैठक के दौरान आईआईटी मंडी के विशेषज्ञों से फोन पर बात हुई जिसमें मंदिर के एक हिस्से के धंसने को लेकर विस्तृत रिपोर्ट तैयार करने के निर्देश दिये गए। मंदिर भवन के एक हिस्से में हो रहे झुकाव को लेकर आईआईटी मंडी की टीम के माध्यम से स्टडी रिपोर्ट तैयार करवाई जाएगी।

दरअसल पिछले कई साल से मंदिर का एक हिस्सा लगातार धंस रहा है। ऐसे में नया निर्माण कार्य या मरम्मत कार्य तभी करवाया जा सकता है जब इसके बारे में विशेषज्ञों की रिपोर्ट हो। लोक निर्माण मंत्री ने अधिशाषी अभियंता पीडब्ल्यूडी को निर्देश दिए कि आईआईटी मंडी से पत्राचार करके तुरंत मामले में रिपोर्ट तैयार करवाई जाए।

मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि न्यास का संयुक्त बोर्ड प्रमुख स्थानों पर लगेगा जिसमें इसके अधीन आने वाले मंदिरों के बारे में संक्षिप्त जानकारी होगी। बैठक में फैसला लिया कि श्री हाटकोटी मंदिर में सोलर सिस्टम प्लांट लगाया जाएगा ताकि सर्दियों में गर्म पानी की उपलब्धता श्रद्धालुओं के लिए हो सके।

न्यास क्षेत्र के होनहार बच्चों की पढ़ाई में आर्थिक सहायता भी प्रदान करता है। न्यास ने फैसला लिया है कि छात्रवृत्ति के नाम से अलग से फंड का प्रावधान किया जाएगा ताकि जरूरतमंद छात्रों को अपनी पढ़ाई जारी रखने में मदद मिल सके। सराहन मंदिर में रसोइया नियुक्त करने की अनुमति प्रदान की गई है। न्यास कार्यालय रामपुर में सहायक मंदिर अधिकारी की सेवानिवृति के बाद एक लिपिक नियुक्त करने की अनुमति दी गई। भीमा काली मंदिर सराहन में मंदिर परिसर और पार्क के लिए सौंदर्यीकरण कार्य को मंजूरी दी गई। इसके साथ ही रामपुर स्थित छह मंदिरों में भी गमले लगाए जाने को मंजूरी दी गई।

मंदिर परिसर में लाइट्स लगाए जाने को लेकर विस्तृत प्रोजेक्ट तैयार करने के निर्देश दिए गए। अयोध्या नाथ मंदिर परिसर में मुख्य मंदिर के चारों तरफ लोहे की ग्रिल स्थापित करने की अनुमति प्रदान की गई। मंदिर न्यास में कार्यरत कर्मचारियों के वेतन भत्तों की विसंगतियों को सुधारने की अनुमति दी गई। अब कर्मचारी की सेवानिवृत्ति पर 1.50 लाख रुपये और सेवाकाल के दौरान आकस्मिक निधन होने पर 2.5 लाख रुपये देने की अनुमति दी गई।

न्यास कर्मचारियों का चिकित्सा भत्ता 250 रुपये से बढ़ाकर 500 रुपये करने की अनुमति दी गई। अगर कर्मचारी अस्पताल में बीमारी के चलते दाखिल होता है तो सरकारी दरों पर चिकित्सा बिलों का भुगतान करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। वहीं भीमा मंदिर सराहन में सहायक प्रभारी की नियुक्ति को मंजूरी दी गई है।

श्री रघुनाथ रोहड़ू के देव स्थान के मरम्मत कार्य और रसोई निर्माण को 1.50 लाख रुपये देने की अनुमति दी गई। वहीं, श्री रघुनाथ दशलानी मंदिर में चौकीदार के लिए कमरा और रसोई घर मरम्मत के लिए भी मंजूरी दी। इसी मंदिर के अधीन समाला में चार लाख 99 हजार 229 रुपये से सुरक्षा दीवार लगाई जाएगी। मंदिर दशलानी में एमसी रोहड़ू के माध्यम से निरंतर सफाई करवाई जाएगी।

मंदिर न्यास को 30 सितंबर 2024 तक कुल तीन करोड़ 96 लाख 84 हजार 264 रुपये की आय हुई है जबकि 83 लाख 81 हजार 406 रुपये विभिन्न विकास कार्यों पर खर्च किए जा चुके हैं। न्यास के विभिन्न बैंक खातों में छह करोड़ 95 लाख 94 हजार 185 रुपये की राशि सावधि के तौर पर जमा है।

आगामी वित्त वर्ष के लिए सालाना तीन करोड़ पांच हजार रुपये खर्च होने का अनुमान है। इसमें 1.50 करोड़ रुपये मरम्मत और निर्माण के लिए, बिजली और टेलीफोन बिल आदि के चार लाख रुपये, मंदिर पूजा में पांच लाख, भंडारे पर पांच लाख रुपये, त्योहारों पर सात लाख रुपये, वेतन एवं अन्य भत्तों पर 1.50 करोड़ रुपये, हाउस टैक्स और जीएसटी पर 70 हजार, कार्यालय और टीए खर्च पर एक लाख, छात्रवृत्ति फंड पर तीन लाख रुपये, सेवानिवृति ग्रेच्युटी खर्च पर एक लाख रुपये, कर्मचारियों पर तीन लाख रुपये का खर्च शामिल है।

उल्लेखनीय है कि न्यास के अधीन नर सिंह परिसर रामपुर, श्री रघुनाथ बड़ा अखाड़ा मंदिर परिसर, विश्राम गृह सराहन, श्री अयोध्यानाथ मंदिर परिसर रामपुर, भीमाकाली सराहन मंदिर और श्री हाटकोटी मंदिर शामिल हैं।

–आईएएनएस

एकेएस/एकेजे

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