दिल्ली, मिल्कीपुर चुनाव नतीजों पर अपर्णा यादव ने जताई खुशी, सपा पर साधा निशाना


लखनऊ, 8 फरवरी (आईएएनएस)। भारतीय जनता पार्टी की नेता अपर्णा यादव ने शनिवार को दिल्ली विधानसभा चुनाव और उत्तर प्रदेश की मिल्कीपुर विधानसभा सीट पर हुए उपचुनाव में भाजपा की जीत पर खुशी जाहिर की। उन्होंने कहा कि उन्हें इन परिणामों से कोई हैरानी नहीं हुई क्योंकि भाजपा ने जनता के लिए निरंतर काम किया है।

अपर्णा यादव ने भाजपा की जीत को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकास कार्यों का परिणाम बताया और कहा कि जो लोग सत्ता में बने रहने का भ्रम पाल चुके थे, उन्हें जनता ने करारा जवाब दिया है।

अपर्णा यादव ने कहा, “मैं इन नतीजों से चौंकी नहीं हूं। हमने जिस प्रकार से काम किया, जनता हमारे साथ खड़ी रही। पीएम मोदी ने जिस तरह से देश में विकास किया है, आज उसी का नतीजा सामने आया है। जो लोग तख्त और ताज पर बैठकर यह मान चुके थे कि दिल्ली कभी उनके हाथ से नहीं निकलेगी, उन्हें अब सच्चाई का अहसास हो गया है।”

उत्तर प्रदेश के मिल्कीपुर विधानसभा उपचुनाव में भाजपा की जीत को रामराज्य की स्थापना से जोड़ते हुए उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में भाजपा प्रत्याशी चंद्रभानु पांडे ने यह जीत हासिल की। उन्होंने यादव समुदाय समेत सभी मतदाताओं को धन्यवाद दिया और इसे आम जनता की जीत बताया।

उन्होंने कहा, “मिल्कीपुर में रामराज्य की स्थापना हुई है। सीएम योगी और पीएम मोदी के गाइडेंस में चंद्रभानु जीते हैं। इस दौरान मेरा भी काफी लोगों से मिलना हुआ, खासतौर से यादव भाई-बहनों से, मैं उन्हें भी धन्यवाद देती हूं। मिल्कीपुर की जनता किसी झूठ और जुमले में नहीं फंसी, बल्कि उन्होंने आम व्यक्ति के विकास को चुना है।”

चुनाव आयोग पर समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव की टिप्पणी को लेकर भी अपर्णा यादव ने पलटवार किया। उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग एक बड़ा संस्थान है और सुप्रीम कोर्ट ने भी उसके कामकाज पर टिप्पणी न करने की सलाह दी है। उन्होंने अखिलेश यादव पर कटाक्ष करते हुए कहा कि जब चुनाव में जीत मिलती है, तब आयोग की आलोचना नहीं की जाती, लेकिन हारने पर उसी पर ठीकरा फोड़ दिया जाता है।

अपर्णा यादव ने कहा, “चुनाव आयोग निष्पक्ष होता है। जब जीत जाते हैं, तब तो यह नहीं कहते कि चुनाव आयोग ने गड़बड़ी की, लेकिन जब हार जाते हैं, तो आयोग पर ही सवाल उठाने लगते हैं। चुनाव आयोग के फैसले का सम्मान किया जाना चाहिए।”

–आईएएनएस

पीएसएम/एकेजे


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