कोच्चि, 30 जनवरी (आईएएनएस)। केरल उच्च न्यायालय ने राज्य के शैक्षणिक संस्थानों में कैंपस राजनीति पर रोक लगाने के निर्देश देने की मांग करने वाली एक जनहित याचिका (पीआईएल) पर सुनवाई शुरू कर दी है।
जनहित याचिका में याचिकाकर्ता उच्च न्यायालय का एक पूर्व कर्मचारी है, जो एक न्यायाधीश के निजी सचिव के रूप में कार्यरत था। अपनी याचिका के जरिए वह चाहता है कि कोर्ट यह निर्देश जारी करे कि छात्र संगठनों को कॉलेज परिसर के भीतर राजनीतिक गतिविधियां चलाने का कोई अधिकार नहीं है।
याचिका पर सुनवाई करने वाली खंडपीठ ने नोटिस जारी करने का फैसला किया है और मामले की अगली सुनवाई 20 फरवरी को होनी तक कर दी है।
याचिकाकर्ता एन. प्रकाश ने इस महीने की शुरुआत में राज्य के स्वामित्व वाले महाराजा कॉलेज, एर्नाकुलम में सीपीआई-एम और कांग्रेस के छात्र विंग के बीच हुई झड़पों के बाद अदालत का दरवाजा खटखटाने का फैसला किया।
झड़प में एक छात्र कार्यकर्ता को चाकू मार दिया गया और याचिकाकर्ता ने बताया कि ऐसी घटनाएं परिसर में अक्सर हो रही हैं और इसलिए वह चाहते हैं कि अदालत कॉलेजों में सभी प्रकार की छात्र राजनीति पर प्रतिबंध लगाए।
याचिकाकर्ता ने अदालत का ध्यान इस ओर भी दिलाया कि उसने पहले भी 2003 के केरल छात्र संघ बनाम सोजन फ्रांसिस मामले में सरकार से छात्र राजनीति को नियंत्रित करने के लिए नियम बनाने के लिए कहा था, लेकिन निर्देश लागू नहीं किया गया था।
याचिकाकर्ता ने कहा कि जब वह यहां सरकारी लॉ कॉलेज में छात्र थे तो उन्होंने खुद छात्र संगठनों की लगातार हड़ताल देखी थी।
–आईएएनएस
एसजीके/