जम्मू-कश्मीर पहुंचे बीसीसीआई अध्यक्ष मिथुन मन्हास, मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला से मुलाकात

नई दिल्ली, 28 अक्टूबर (आईएएनएस)। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के अध्यक्ष मिथुन मन्हास ने मंगलवार को जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला से मुलाकात की। इस दौरान जम्मू-कश्मीर में क्रिकेट को बढ़ावा देने के लिए की गई पहलों पर चर्चा की।
मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) के सूत्रों के अनुसार, बैठक में मौजूदा क्रिकेट सुविधाओं में सुधार, नए स्टेडियमों के विकास और जम्मू-कश्मीर में उभरते खिलाड़ियों को तैयार करने के लिए एक मजबूत ढांचा बनाने पर ध्यान केंद्रित किया गया।
मुख्यमंत्री कार्यालय ने आधिकारिक सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर जानकारी देते हुए लिखा, “बीसीसीआई अध्यक्ष मिथुन मन्हास ने मुख्यमंत्री से मुलाकात की और उन्हें जम्मू-कश्मीर में क्रिकेट को बढ़ावा देने के लिए की गई पहलों के बारे में जानकारी दी।”
इसके साथ ही कुछ तस्वीरें भी साझा की गई हैं, जिनमें दिल्ली एवं जिला क्रिकेट संघ (डीडीसीए) अध्यक्ष रोहन जेटली और ब्रिगेडियर अनिल गुप्ता बीसीसीआई अध्यक्ष के साथ नजर आ रहे हैं।
भद्रवाह से आने वाले 46 वर्षीय मिथुन विश्व की सबसे शक्तिशाली क्रिकेट संस्था का नेतृत्व करने वाले जम्मू-कश्मीर के पहले व्यक्ति हैं। जब मन्हास को इस पद पर चुना गया, तो उनके गृहनगर में जश्न का माहौल देखने को मिला था।
29 अक्टूबर 1979 को जन्मे मिथुन मन्हास ने घरेलू क्रिकेट में अपना जलवा बिखेरा है। इस दाएं हाथ के खिलाड़ी ने 157 फर्स्ट क्लास मुकाबलों की 244 पारियों में 45.82 की औसत के साथ 9,714 रन बनाए। इस दौरान उनके बल्ले से 27 शतक और 49 अर्धशतक निकले।
वहीं, 130 लिस्ट-ए मुकाबलों में मन्हास ने 45.84 की औसत के साथ 4,126 रन अपने नाम किए। इस दौरान मन्हास ने 5 शतक और 26 अर्धशतक लगाए। वहीं, 91 टी20 मुकाबलों में उनके नाम 1,170 रन दर्ज हैं।
मिथुन मन्हास ने अपने आईपीएल करियर में 55 मैच खेले, जिसमें 22.35 की औसत के साथ 514 रन जोड़े।
1997/98 में घरेलू क्रिकेट की शुरुआत करने वाले मिथुन मन्हास ने बतौर कप्तान दिल्ली को 2007-08 सीजन की रणजी ट्रॉफी जिताई। वह भारत की अंडर-19 और ए टीम का प्रतिनिधित्व भी कर चुके हैं।
घरेलू क्रिकेट में प्रभावशाली प्रदर्शन के बावजूद मिथुन मन्हास सीनियर टीम में स्थान नहीं बना सके। राहुल द्रविड़, सौरव गांगुली, सचिन तेंदुलकर और वीवीएस लक्ष्मण जैसे खिलाड़ियों के बीच उन्हें कभी सीनियर टीम में स्थान नहीं मिल सका।
–आईएएनएस
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