केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार को कहा कि आतंकवाद पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार की जोरो टालरेंस नीति आने वाले समय में भी जारी रहेगी। देश के किसी भी हिस्से में अलगाववाद, आतंकवाद और राष्ट्रविरोधी गतिविधियों को कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और सख्ती से निपटा जाएगा। वे केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआइएसएफ) के 54वें स्थापना दिवस समारोह को संबोधित कर रहे थे।
कश्मीर में हिंसा में कमी आई, पूर्वोत्तर में उग्रवाद घटा
केंद्रीय गृह मंत्री ने आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) और राज्य पुलिस की भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि राजग सरकार ने पिछले नौ वर्ष में आंतरिक सुरक्षा की चुनौतियों का सफलतापूर्वक सामना किया है। कश्मीर में हिंसा काफी कम हुई है, जबकि पूर्वोत्तर और वामपंथी चरमपंथ प्रभावित इलाकों में उग्रवाद भी कम हुआ है।
कई लोग हथियार छोड़कर मुख्य धारा में हुए शामिल
शाह ने कहा कि आतंकी गतिविधियों में लिप्त होने वाले लोगों की संख्या घटती जा रही है और कई लोग हथियार छोड़कर मुख्यधारा में शामिल हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि कोई भी देश तभी प्रगति कर सकता है, जब उसके हवाई अड्डे, बंदरगाह और औद्योगिक प्रतिष्ठान सुरक्षित हों।
सीआइएसएफ ने देश की आर्थिक प्रगति में दिया योगदान
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सीआइएसएफ के 53 साल के इतिहास से पता चलता है कि इसने देश की आर्थिक प्रगति में काफी योगदान दिया है। उन्होंने देश में सेवाओं के लिए सीआइएसएफ कर्मियों की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि अगर देश की अर्थव्यवस्था को पांच हजार अरब डालर तक पहुंचाने के पीएम मोदी के लक्ष्य को हासिल करना है तो महत्वपूर्ण प्रतिष्ठानों की सुरक्षा बहुत जरूरी है। उन्होंने विश्वास जताया कि सीआइएसएफ भविष्य में इन चुनौतियों पर खरा उतरेगा।
आने वाले समय में बढ़ेगी सीआइएसएफ की भूमिका
शाह ने कहा कि केंद्रीय गृह मंत्रालय सीआइएसएफ को हवाई अड्डों, बंदरगाहों और अन्य संस्थानों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उन्हें आधुनिक तकनीक से लैस करने में कोई कोर कसर नहीं छोडेगा। सीआइएसएफ द्वारा अपनाए हाइब्रिड माडल पर उन्होंने कहा कि आने वाले समय में इसकी भूमिका बहुत बढ़ने वाली है। इस माडल से निजी कंपनियों में भी सलाहकार और अन्य कई भूमिकाओं में इसका उपयोग होने का रास्ता खुलेगा।
केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि ये बल आने वाले दशकों में आधुनिक तकनीक और ड्रोन जैसे सुरक्षा संबंधित खतरों से निजी कंपनियों को भी सुरक्षा देने का काम कर सकेगा। बता दें कि पहली बार सीआइएसएफ की वार्षिक रेजिंग डे परेड दिल्ली के बाहर हैदराबाद के हाकिमपेट स्थित नेशनल इंडस्टि्रयल सिक्योरिटी एकेडमी मे हुई।