वीडियो, ऑडियो बुक, ई-बुक की मदद लेगा चुनाव आयोग


नई दिल्ली, 5 मार्च (आईएएनएस)। चुनाव आयोग ने फैसला किया है कि मतदाताओं, उम्मीदवारों, राजनीतिक दलों समेत उसके विभिन्न हितधारकों के लिए एनिमेटेड वीडियो, ऑडियो बुक, ई-बुक और एक एकीकृत डैशबोर्ड जैसी प्रमुख सामग्री उपलब्ध कराई जाएगी।

इससे उन्हें चुनाव की विभिन्न प्रक्रियाओं, व्यवस्थाओं और नियमों की जानकारी आसानी से मिल सकेगी। चुनाव आयोग के अनुसार, क्षमता निर्माण के लिए आधुनिक दृष्टिकोण अपनाते हुए, प्रत्येक हितधारक के लिए एनिमेटेड वीडियो का एक कैप्सूल तैयार किया जाएगा। यह वीडियो उनके लिए चुनाव से जुड़े सभी पहलुओं को विस्तार से कवर करेगा। ये एनिमेटेड वीडियो प्रत्येक हितधारक के लिए स्व-गति से निरंतर सीखने का आसान माध्यम होंगे।

गौरतलब है कि चुनाव आयोग ने संवैधानिक ढांचे और कानूनी प्रावधानों के व्यापक अध्ययन के बाद, पूरी चुनाव प्रक्रिया में 28 अलग-अलग हितधारकों की पहचान की है। इनमें इलेक्टोरेट ऑफिसर-सीईओ, डीईओ, ईआरओ, राजनीतिक दल, उम्मीदवार, मतदान एजेंट आदि शामिल हैं। विभिन्न तैयारियों और जानकारी के आदान-प्रदान के लिए दिल्ली में सभी राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों के सीईओ का दो दिवसीय सम्मेलन बुधवार को संपन्न हुआ।

चुनाव प्रणाली में दक्षता लाने के लिए प्रौद्योगिकी का उपयोग करने के लिए मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार के दृष्टिकोण और दृढ़ विश्वास के अनुरूप, यह निर्णय लिया गया। इसके तहत विभिन्न हितधारकों की सुविधा के लिए एक अनुकूलित डैशबोर्ड के साथ एक एकीकृत आईटी आर्किटेक्चर तैयार किया जाएगा। एक एकल खिड़की मंच की भी योजना बनाई गई है, जो सूचनाओं के सुझाव और परिणामों के प्रवाह को सुव्यवस्थित करेगा। यह मंच मानवीय त्रुटियों को कम करने के लिए अंतर्निहित क्रॉस-सत्यापन के साथ अधिकारियों के बीच संचार को सुचारू बनाएगा।

सम्मेलन के दूसरे दिन, मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने निर्वाचन आयुक्त डॉ. सुखबीर सिंह संधू और डॉ. विवेक जोशी के साथ प्रमुख सामग्री की समय पर उपलब्धता के लिए प्रत्येक सीईओ द्वारा प्रस्तुत कार्रवाई योग्य बिंदुओं की समीक्षा की। चुनाव आयोग के मुताबिक, प्रत्येक सीईओ के लिए एक अलग हितधारक नियुक्त किया गया है। गलत सूचना और स्थानीय मुद्दों पर त्वरित प्रतिक्रिया के लिए सीईओ और डीईओ स्तर पर संचार को मजबूत करने के लिए एक नई ऊर्जा का संकेत दिया गया। चुनाव अधिकारियों ने तेजी से विकसित हो रहे मीडिया परिदृश्य में मतदाताओं के साथ निरंतर जुड़ाव के लिए सोशल मीडिया पर पहुंच बढ़ाने की आवश्यकता पर भी चर्चा की। मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने यहां दोहराया कि सभी अधिकारियों को मौजूदा संवैधानिक और कानूनी ढांचे, निर्वाचक पंजीकरण नियम 1960, चुनाव संचालन नियम 1961 और समय-समय पर ईसीआई द्वारा जारी निर्देश के अनुसार काम करना चाहिए।

–आईएएनएस

जीसीबी/एफजेड


Show More
Back to top button