अतीक अहमद की हत्या के बाद एक-एक करके उसकी जुल्म से सताए हुए लोगों के सच सामने आ रहे हैं। अब लखनऊ में अतीक के करीबी बिल्डर मो. मुस्लिम और एलडीए के फर्जीवाड़े में 22 परिवार फंस गए हैं।
अतीक अहमद के करीबी रहे बिल्डर मो. मुस्लिम की जालसाजी में पान दरीबा में बने शिवा एम्पायर रेजीडेंसी में रहने वाला 22 परिवार संकट में फंस गया है। मो. मुस्लिम के बनाए इस अवैध अपार्टमेंट को गिराने की नोटिस देने के बाद एलडीए के अफसरों ने मामले को दबा लिया था। अब उस आदेश के 11 साल बाद एलडीए ने फिर से अपार्टमेंट गिराने की नोटिस भेजी है।
नोटिस को शिवा अपार्टमेंट में रहने वालों को दी गई, लेकिन इसका भूखंड संख्या कोई और निकला। हालांकि एलडीए के अफसर कह रहे हैं कि यह अपार्टमेंट मो. मुस्लिम का है। अतीक अहमद की हत्या के बाद मो. मुस्लिम की संपत्तियों की जांच एलडीए ने शुरू कर दी है। मो. मुस्लिम के करीबी आमिर अली ने ब्लंट स्क्वायर में 446 वर्ग मीटर भूखंड पर स्वीकृत मानचित्र के विपरीत पांच मंजिला अपार्टमेंट वर्ष 2012 में बनाया था।
एलडीए ने 19 दिसंबर 2012 को आमिर अली को नोटिस जारी की थी। एलडीए के अफसरों ने इस नोटिस के बाद भी अवैध अपार्टमेंट को ध्वस्त नहीं किया था। एलडीए के तत्कालीन विहित प्राधिकारी वीरेंद्र पांडेय ने 30 जुलाई 2013 को 25 दिन के भीतर अवैध निर्माण को तोड़ने का आदेश दे दिया। एलडीए ने अब इस नोटिस के आधार पर शिवा एम्पायर रेजीडेंसी को गिराने का आदेश दिया है।
इस अपार्टमेंट को भी मो. मुस्लिम ने बनाया है लेकिन इसका पता कागजों पर ब्लंट स्क्वायर की जगह पान दरीबा है। वहीं भूखंड संख्या भी अलग है। यहां बनी सोसाइटी के अनुसार वर्ष 1928 में शिव कुमार श्रीवास्तव ने लखनऊ इंप्रूवमेंट ट्रस्ट योजना से 90 वर्ष के लिए भूमि लीज पर ली थी। इस संपत्ति को 13 अप्रैल 2010 को फ्रीहोल्ड कर लिया गया।
पांच मई 2010 को मो. मुस्लिम की कंपनी एकमा बिल्डर्स एंड डेवलपर्स के साथ अपार्टमेंट बनाने का एग्रीमेंट किया गया। वर्ष 2012 में यह अपार्टमेंट बन गया और इसको बेच भी दिया गया। अब दो अलग-अलग पते होने के बावजूद बिल्डिंग मो. मुस्लिम की ही सामने आ रही है। एलडीए के जोनल अधिकारी रामशंकर ने बताया कि शिवा एम्पायर रेजीडेंसी को मो. मुस्लिम ने ही बनाया है। नोटिस में दिए पते और शिवा एम्पायर रेजीडेंसी के पते में भिन्नता को लेकर जानकारी नहीं है।