एलयू के दर्शन शास्त्र विभाग में व्याख्यान का आयोजन

एलयू के दर्शन शास्त्र विभाग में व्याख्यान का आयोजन

लखनऊ। लखनऊ विश्वविद्यालय के दर्शन शास्त्र विभाग में भारतीय ज्ञान परंपरा की व्याख्यान माला के अंतर्गत दो दिन के व्याख्यान का आयोजन किया गया। इस व्याख्यान के प्रमुख वक्ता प्रो पवन दीक्षित विभागाध्यक्ष, केन्द्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय, एकलव्य परिसर, अगरतला रहे। इनके व्यक्तव्य का विषय रहा। उनका व्याख्यान नई शिक्षा नीति में जो सांस्कृतिक मूल्यो की प्रासंगिकता की बात हो या समावेशिता हो, दोनों ही बातो में भारतीय सौंदर्य शास्त्र इससे सहमत हैं, इस दृष्टि से भी महत्वपूर्ण रहा। साथ ही उन्होंने अपने व्याख्यान में बताया सौंदर्य शास्त्र की अपनी तत्वमीमांसा, ज्ञानमीमांसा हैं। सौंदर्य शास्त्र के रस सिद्धांत पर भी प्रकाश डालते हुए बताया कि रस केवल प्रतीति मात्र तक ही स्थायी होता हैं। इस व्याख्यान में दर्शन शास्त्र विभाग की विभागाध्यक्षा डॉ रजनी श्रीवास्तव और साथ ही विभाग के अन्य शिक्षक प्रो राकेश चंद्रा, तथा डॉ प्रशांत शुक्ला उपस्थित रहे। साथ ही विभाग के शोधार्थी और परास्नातक के विधार्थी भी उपस्थित रहे।

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