12 साल की रेप पीड़िता का गर्भपात करवा कर फेंक दिया था भ्रूण,जाने पूरी मामला

12 साल की रेप पीड़िता का गर्भपात करवा कर फेंक दिया था भ्रूण,जाने पूरी मामला

महिला थाना की अपर थानाध्यक्ष रेखा कुमारी ने कहा कि कोर्ट के आदेश पर इस भ्रूण का डीएनए टेस्ट कराया जाएगा। पुलिस ने एक नामजद आरोपी राधाशरण देव उर्फ बीडीओ को गिरफ्तार कर लिया।

दरभंगा के अलीनगर थाना क्षेत्र में 12 वर्ष की नाबालिग से दुष्कर्म करने के बाद गर्भवती हो गई थी। हैवानों ने उसका गर्भपात करवा को भ्रूण को तालाब में फेंक दिया था। इसके बाद महिला थाना की पुलिस ने खोजबीन कर भ्रूण को तालाब से बाहर निकलवाया। इसके बाद कपड़े में लपेटकर फेंका गया सड़ा गला हुए भ्रूण को निकाल कर उसे एक डब्बे में सुरक्षित तरीके से डीएमसीएच भेजा गया है।

महिला थाना के अपर थानाध्यक्ष रेखा कुमारी ने कहा कि कोर्ट के आदेश पर इस भ्रूण का डीएनए (DNA) टेस्ट कराया जाएगा। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए एक नामजद आरोपी राधाशरण देव उर्फ बीडीओ को गिरफ्तार कर लिया। जबकि शेष आरोपी अभी फरार चल रहे हैं। बताया जाता है कि इस मामले को लेकर करीब दो महीने पहले पीड़ित पक्ष स्थानीय अलीनगर थाना गया था लेकिन इस मामले को स्थानीय थाना ने इस मामले प्राथमिकी दर्ज करना तो दूर की बात रही जानकारी लेना भी मुनासिब नहीं समझा। और पीड़ित पक्ष के लोगों को ग्रामीणों ने पंचायत स्तर मामला को सुलझा लेने का भरोसा दिलाता रहा। लेकिन जब पंचायत में इस जघन्य मामले को मात्र 20 हजार रुपये में माफ कर देने का फरमान पंचायत ने सुनाया तो मामला बिगड़ गया और अब स्थानीय अलीनगर थाना सहित पूरा पुलिस महकमा हरकत में आ गया।

भ्रूण को निकलवाकर डीएमसीएच में सुरक्षित जांच के लिए रखवाया
इस मामले में पीड़िता की दादी ने आरोपी अभिनंदन लाल देव सहित उसकी मां सुशीला देवी पिता नुनु लाल देव, केशरीनंदन देव और साधुशरण देव उर्फ बीडीओ को नामजद आरोपी बनाया है। दरभंगा के महिला थाना में प्राथमिकी दर्ज होते ही थानाध्यक्ष नुसरतजहां और उनकी टीम ने 24 घंटे के भीतर ही कार्रवाई करते हुए इस घटना में गर्भपात के बाद तालाब में फेंका गया भ्रूण को निकलवाकर डीएमसीएच में सुरक्षित जांच के लिए रखवाया है। इस घटना के एक आरोपी को भी गिरफ्तार कर लिया है।

कोर्ट का आदेश मिलने पर डीएनए टेस्ट कराया जाएगा
इस सम्बंध में महिला थाना की अपर थानाध्यक्ष रेखा कुमारी ने बताया कि अलीनगर थानाध्यक्ष मौसम कुमारी और उनकी टीम के सहयोग से कार्रवाई करते हुए गांव के ही तालाब से पीड़िता के गर्भपात के बाद तालाब में फेंके गए भ्रूण को तालाब से पीड़ित पक्ष के लोगों ने ही निकाल कर दिया। इसको सुरक्षित तरीके से रखा गया है। कोर्ट का आदेश मिलने पर डीएनए टेस्ट कराया जाएगा।

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