रांची, 17 अगस्त (आईएएनएस)। झारखंड में स्टाफ सेलेक्शन कमीशन कंबाइंड ग्रेजुएट लेवल (एसएससी-सीजीएल) एग्जाम सहित सरकारी नौकरी की अन्य परीक्षाएं बार-बार टालने और कई परीक्षाओं के रिजल्ट लंबे समय से पेंडिंग रखे जाने से नाराज छात्रों का गुस्सा फूट पड़ा।
शनिवार को रांची में राज्यभर से बड़ी संख्या में जुटे छात्र मोरहाबादी मैदान के पास सड़क पर घंटों जमे रहे। छात्रों ने सीएम आवास घेरने का ऐलान किया था, लेकिन सुरक्षा बलों ने उन्हें आगे बढ़ने से रोक दिया।
इसके बाद दोपहर 12 बजे से छात्र सड़क पर ही बैठकर नारेबाजी करने लगे। जेएसएससी की ओर से स्टाफ सेलेक्शन कमीशन कंबाइंड ग्रेजुएट लेवल को बार-बार टाले जाने से छात्रों में सबसे ज्यादा नाराजगी है। हालांकि, जेएसएससी ने 21 एवं 22 सितंबर को परीक्षा की तिथि की घोषणा की है।
प्रदर्शन करने वाले छात्रों का कहना है कि इन तारीखों में यूपीएससी और झारखंड पब्लिक सर्विस कमीशन की परीक्षाएं पहले से निर्धारित हैं। ऐसे में इस परीक्षा की तारीखें एक बार फिर टलनी तय है। इस परीक्षा की तारीख पहले अठारह बार टल चुकी है। एक बार परीक्षा ली गई तो उसका पेपर लीक हो गया।
छात्रों का कहना है कि झारखंड स्टाफ सेलेक्शन कमीशन नौ साल से एक ही परीक्षा पर अटका है और इस बीच छात्रों की एज एक्सपायर हो रही है। कई अन्य परीक्षाओं के नाम पर भी मजाक हो रहा है। झारखंड पब्लिक सर्विस कमीशन की मुख्य परीक्षा का परिणाम महीनों से पेंडिंग रखा गया है।
प्रदर्शनकारियों ने आरोप लगाया कि सीटें बेचने और अपने लोगों को बैक डोर से नौकरियां देने की साजिश के तहत इस तरह का खिलवाड़ हो रहा है। शाम पांच बजे तक सड़क पर जमे छात्र मांग कर रहे थे कि सीएम हेमंत सोरेन, सरकार का कोई मंत्री या मुख्य सचिव स्वयं आकर आश्वस्त करें कि जेएसएससी-सीजीएल की परीक्षा की प्रक्रिया विधानसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने के पहले पूरी हो जाएगी, तभी वे यहां से हटेंगे।
–आईएएनएस
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